नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली में एक बार फिर शायद ऑड-ईवन स्कीम वापस लौट सकती है। वायु प्रदूषण (Delhi Pollution) के बढ़ते स्तर को देखते हुए दिल्ली सरकार (Delhi Government) के परिवहन विभाग ने वाहन चालकों से अपनी गाड़ियों पर ईंधन की पहचान वाले कलर स्टीकर (Colour Coded Fuel Stickers) लगवाने को कहा है।
यमुना नदी होगी प्रदूषण मुक्त, CM Arvind Kejriwal के छह एक्शन प्वाइंट्स
वाहनों पर होलोग्राम स्टीकर लगाना अनिवार्य
शुक्रवार को दिल्ली परिवहन विभाग की ओर से इस संबंध में एक नोटिस जारी किया गया। जिसमें कहा गया कि सुप्रीम कोर्ट के एक आदेश और केंद्रीय मोटर वाहन नियम, 1989 के अनुसार दिल्ली में रजिस्टर्ड सभी वाहनों पर क्रोमियम आधारित होलोग्राम स्टीकर (Colour Coded Fuel Stickers) लगाना अनिवार्य है।
पुराने वाहन मालिकों को विभाग ने दी सलाह
विभाग ने कहा कि, पुराने वाहनों के मालिकों को सलाह दी जाती है कि अपने वाहन की विंडशील्ड पर ईंधन की संबंधित श्रेणी के हिसाब से क्रोमियम आधारित होलोग्राम स्टीकर (Colour Coded Fuel Stickers) चस्पा कराने के लिए संबंधित विक्रेताओं से संपर्क करें।
गाड़ियों पर ईंधन की पहचान करने वाला Stickers जरूरी :
सड़कों पर निरीक्षण के दौरान ट्रैफिक पुलिस के अधिकारियों को रंगों वाले स्टीकरों से उसमें इस्तेमाल पेट्रोल, डीजल समेत ईंधन का पता चलता है। बता दें कि, अप्रैल 2019 से पहले रजिस्टर्ड वाहन इन स्टिकर के साथ नहीं आते थे। पेट्रोल या सीएनजी के लिए नीला और डीजल वाहनों के लिए नारंगी निर्धारित किया गया है।
बिना स्टिकर पर लगेगा जुर्माना
नियमों के अनुसार, बिना स्टिकर (Colour Coded Fuel Stickers) वाले वाहनों के मालिकों को अपराध के लिए 5,500 रुपये से लेकर 10,000 रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है। हालांकि, परिवहन विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि हम केवल इन स्टिकर के बारे में जागरूकता बढ़ा रहे हैं।
विशेष अभियान की योजना नहीं
निकट भविष्य में किसी विशेष अभियान की योजना नहीं है। इन स्टिकर में रजिस्ट्रेशन नंबर, रजिस्ट्रेशन अथॉरिटी, एक लेजर-ब्रांडेड पिन और वाहनों के इंजन और चेसिस नंबर जैसे विवरण भी होते हैं।
सोशल मीडिया अपडेट्स के लिए हमें Facebook और Twitter पर फॉलो करें।