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Friday, April 19, 2024

किसानों की ट्रैक्टर परेड में कहां कैसा मचा कोहराम, जानें पूरा मामला

नई दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी से लगे सिंघू और टिकरी बॉर्डर पर ट्रैक्टर परेड के दौरान प्रदर्शन कर रहे किसानों के समूह मंगलवार को पुलिस के अवरोधकों को तोड़कर दिल्ली में दाखिल हो गए। इसके बाद ये किसान काफी समय तक मुकरबा चौके पर बैठे, लेकिन फिर उन्होंने वहां लगाए गए बैरिकेड और सीमेंट के अवरोधक तोड़ने की कोशिश की। इसके बाद किसानों के समूह पर पुलिस ने आंसू गैस के गोले दागे।

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राजनीतिक दल खराब करना चाहते आंदोलन

वहीं ट्रैक्टर परेड में हिंसा पर भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहा -हमारे सब लोग शांतिपूर्ण तरीके से जा रहे हैं। जो लोग गड़बड़ फैलाने की कोशिश कर रहे हैं वो चिन्हित हैं। वो राजनीतिक दल के लोग हैं और इस आंदोलन को खराब करना चाहते हैं।

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दिल्ली पुलिस के संयुक्त पुलिस कमिश्नर आलोक कुमार ने कहा कि काफी उग्र तरीके से ट्रैक्टरों द्वारा पुलिसकर्मियों को कुचलने की कोशिश की गई। व्यापक पैमाने पर तोड़फोड और नुकसान किया गया। काफी उग्र तरीके से ये रैली की गई, इसपर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ज्वाइंट कमिश्नर शालिनी सिंह ने कहा हम सुबह से किसानों से अपील कर रहे हैं कि जो रास्ता दिल्ली पुलिस के साथ बैठक में तय हुआ है उसका पालन करें। काफी लोग उस रास्ते से चले गए हैं लेकिन कई लोगों ने पुलिस पर पथराव किया, ट्रैक्टर चढ़ाने की कोशिश की,बैरिकेड तोड़े। हमारे कुछ लोग घायल हुए हैं।

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इस प्रकार निकाली गई रैली

अधिकारियों के अनुसार सुरक्षा कर्मियों ने किसानों को समझाने की कोशिश भी की और कहा कि राजपथ पर गणतंत्र दिवस परेड के खत्म होने के बाद उन्हें दिल्ली में ट्रैक्टर परेड करने की अनुमति दी गई है। इसके बावजूद कई ट्रैक्टर नजर आए, जिन पर तिंरगे लगे थे। इनके साथ पुरुष तथा महिलाएं ढोल पर नाचते नजर आए।

सड़क के दोनों ओर खड़े स्थानीय लोग फूलों की बारिश भी कर रहे थे। कुछ किसान हाथ में विभिन्न किसान संगठनों के झंडे लिए और नारे लगाते पैदल चलते भी नजर आए। कुछ मोटर साइकिल और घोड़ों पर सवार थे। लोग अपने ट्रैक्टरों के ऊपर खड़े होकर नारे लगाते और क्रांतिकारी गीत गाते भी दिखे। स्थानीय लोगों ने मार्च में शामिल किसानों को खाद्य पदार्थ और पानी की बोतलें बांटी।

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प्रदर्शन कर रहे किसान हुए बेकाबू

इस दौरान एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि किसानों के कुछ समूह अवरोधक तोड़कर राष्ट्रीय राजधानी में दाखिल हो गए। उन्होंने कहा, पुलिस और किसानों के बीच इस बात को लेकर सहमति बनी थी कि वे निर्धारित समय पर परेड शुरू करेंगे, लेकिन वे जबरन दिल्ली में दाखिल हो गए । तय मार्ग के अनुसार उन्हें बवाना की ओर जाना था लेकिन उन्होंने आउटर रिंग रोड की ओर जाने की जिद शुरू कर दी।

बता दें कि दिल्ली पुलिस ने वार्षिक गणतंत्र दिवस परेड के बाद किसानों को ट्रैक्टर परेड निकालने की रविवार को अनुमति दे दी थी। प्रदर्शनकारियों को कहा गया था कि वे राजपथ के जश्न को बाधित नहीं कर सकते, इस पर किसानों ने इस बात पर जोर दिया था कि उनकी परेड शांतिपूर्ण होगी। अधिकारी ने कहा, लेकिन किसानों के कुछ समूह माने नहीं और पुलिस के अवरोधक तोड़ कर आउटर रिंग रोड की ओर बढ़ने लगे।

बैरिकेडिंग को तोड़कर दिल्ली की तरफ घुसे किसान

बता दें कि अक्षरधाम मंदिर के पास एनएच 24 पर पुलिस ने किसानों को रोकने के लिए बैरिकेडिंग लगाई थी। कुछ किसानों के जत्थे ने ट्रैक्टरों के साथ बैरिकेडिंग को तोड़कर दिल्ली की तरफ घुसने की कोशिश की तो पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े और उनपर लाठीचार्ज कर दिया। किसानों को पुलिस ने यहां से हटाने की कोशिश की तो किसानों को गुस्सा आ गया है और तलवार निकाल ली।किसानों ने लाठी और तलवार निकालकर पुलिस को डराया ही नहीं वल्कि उनका पीछा किया।

Ito पर हवाई फायरिंग और आंसू गैस के गोले दागे गए

वहीं चिल्ला बॉर्डर की बात करें तो ट्रैक्टर से स्टंट के दौरान बड़ा हादसा हो गया है। इस दौरान पलटा ट्रेक्टर पलट गया, ट्रैक्टर पलटने के लाइव वीडियो आया सामने है। वहीं ट्रैक्टर चालक किसान राजीव नागर घायल है। वहीं आईटीओ पर पुलिस मुख्यालय के सामने पुलिस और किसानों में झड़प हो गई है जिसमें 7 पुलिस घायल हो गए है। इसके बाद पुलिस के द्वारा Ito पर हवाई फायरिंग और आंसू गैस के गोले दागे गए।

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एक फरवरी को संसद तक पैदल मार्च करेंगे किसान

प्रदर्शन कर रहे संगठनों ने एक फरवरी को संसद तक पैदल मार्च करने की भी घोषणा की है। एक फरवरी को संसद में वार्षिक बजट पेश किया जाएगा। दिल्ली में सिंघू, टिकरी और गाजीपुर बॉर्डर पर प्रस्तावित ‘किसान गणतंत्र परेड’ के मद्देनजर सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए हैं। प्रतिबंधित संगठन ‘सिख फॉर जस्टिस’ के गणतंत्र दिवस समारोह के दौरान शहर की बिजली आपूर्ति को बाधित करने की धमकी देने के बाद बिजली के उपकेंद्रों पर गश्त भी बढ़ा दी गई है।

Priya Tomar
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I am Priya Tomar working as Sub Editor. I have more than 2 years of experience in Content Writing, Reporting, Editing and Photography .

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