नई दिल्ली। समय के साथ साथ बहुत कुछ बदलता है। फिर लोगों की पसंद हो या पंसद करने का तरीका। ऐसे ही आज के वक्त में हिंदी सिनेमा से जुड़ी कई सारी चीजों जो कि बदल रही है, और साथ में लोगों की सोच भी। ऐसे ही कमाल के एक्टर संजय मिश्रा (Sanjay Mishra) से बातचीच के दौरान उन्होंने सिनेमा का बारे में और दर्शकों के बारे में कहा है। तो चलिए जानते है कि क्या मानना है एक्टर का।
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वहीं हाल ही में संजय मिश्रा की एमएक्स प्लेयर पर सीरिज आई है जिसका नाम है रनअवे लुगाई। मशहूर कलाकारों से सजी इस सीरीज के ट्रेलर को दर्शकों द्वारा काफी पसंद किया गया। यह एक युवा दंपत्ति रजनीकांत सिन्हा उर्फ रजनी व बुलबुल की कहानी है। रजनी के पिता एक विधायक हैं। इस सीरीज में मुख्य भूमिका में हैं संजय मिश्रा, नवीन कस्तूरिया, रूही सिंह, व रवि किशन।
तो जब एक्टर संजय मिश्रा ने एक्टिंग और इंड्रस्टी के बारे में पूछा गया तो उन्होंने साफ साफ शब्दों में अपनी बात रखते हुए कहा, जैसे मैंने धमाल व गोलमाल जैसी फिल्में भी की हैं, तो वहीं मैंने आंखों देखी भी की है। तो मुझे दोनों तरह के दर्शक मिलते हैं। तो कॉमेडी में ढेरों बदलाव आए हैं क्योंकि दर्शक भी बदले हैं। अब दर्शक सिर्फ हीरो हीरोइन की दुनिया नहीं बल्कि आम लोगों की कहानी भी देखना चाहते हैं।
आगे एक्टर ने कहा,- यह पूरी तरह निर्देशक पर निर्भर करता है। अधिकतर चीजें आपकी टाइमिंग पर निर्भर करती हैं। ऐसे में अगर निर्देशक अच्छा है तो आपकी टाइमिंग बेहतर हो जाती है। ज्यादातर ऐसा होता है कि जब हम शूट कर रहे होते हैं तो हमें बहुत सारी चीजें नहीं पता होती हैं, हमें लगता है कि इस पर कौन हंसेगा, लेकिन रिलीज के समय दर्शक इस पर सीटी बजा रहे होते हैं। ये सब निर्देशन पर ही निर्भर करता है।
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तो ऐसे मे ये तो साफ हो गया है अब असली कलाकार कौन है, और कलाकर क्या कर सकता है। ये सब बहुत जरुरी है। क्योकि लोग भी अब कहानियां और किरदारों में सच्चाई देखते है। हर किसी को समझ आता है कि कौन अच्छी एक्टिंग कर सकता है औऱ कौन अपने नाम से सिनेमा में सालों तक टिका हुआ है।