नई दिल्ली। बॉलीवुड एक्ट्रेस कंगना रनौत के पाली हिल स्थित दफ्तर को तोड़े जाने संबंधित मामले पर हाई कोर्ट ने अपना फैसला सुना दिया है. बॉम्बे हाई कोर्ट के फैसले के मुताबिक कंगना के दफ्तर में हुए नुकसान का मूल्यांकन किया जाएगा. हाई कोर्ट ने साफ कहा है कि कंगना द्वारा तोड़फोड़ में हुए नुकसान का वह किसी भी तरह समर्थन नहीं करता है.
When individual stands against the government and wins, it’s not the victory of the individual but it’s the victory of the democracy.
Thank you everyone who gave me courage and thanks to those who laughed at my broken dreams.
Its only cause you play a villain so I can be a HERO. https://t.co/pYkO6OOcBr— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) November 27, 2020
‘ट्वीट नहीं ऑफिस को तोड़ने पर है सुनवाई’
सुनवाई के दौरान बीएमसी और अन्य पक्षों ने कोर्ट में कहा कि कंगना ने आपत्तिजनक ट्वीट किए थे. इस पर कोर्ट ने कहा कि यहां कंगना का ऑफिस तोड़ने के मामले की सुनवाई हो रही है. किसने क्या कहा यहग अभी कोर्ट का विषय नहीं है. हालांकि कोर्ट ने कहा कि वह कंगना द्वारा दिए गए बयान हालांकि गैरजिम्मेदाराना हैं लेकिन बेहतर तरीका यही है कि ऐसे बयानों को नजरअंदाज किया जाए.
बीएमसी को लगाई फटकार
कोर्ट ने कहा कि कंगना को धमकाने लिए बाहुबल का इस्तेमाल किया गया. बीएमसी द्वारा की गई कार्रवाई गलत नीयत से की गई प्रतीत होती है. कोर्ट ने कहा कि कंगना को हर्जाना दिए जाने के लिए दफ्तर में हुई तोड़फोड़ का मूल्यांकन किया जाए और इस मूल्यांकन की जानकारी कंगना और BMC दोनों को होनी चाहिए. कोर्ट ने यह भी कहा कि जो भी हर्जाना होगा उसे बीएमसी ही भरेगी.